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Abstract
भारतवर्ष की भूमि पर सैन्धव सभ्यता के लोग चित्रात्मक लिपि का प्रयोग करते थे। लेकिन अभी तक इस भाषा को पढ़ा नहीं गया है। बहुत से विद्वान मानते है कि सैन्धव सभ्यता में व्यापारी वर्ग शासन करता था। अतः यह भाषा व्यापारी वर्ग अपनी व्यापारिक सुविधाओं के लिए प्रयोग करता था।1 इस प्रकार से यह समकालीन राजदरबार की भाषा रही होगी।